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क्या कहूँ....? - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: March 2010
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क्या कहूँ? हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Sunday, March 7, 2010. प्रजाति. उसकी पत्नी अभी भी सो रही थी। उसने आदतन अपनी बाँह उसपर रख दी। वह एक दम झल्ला उठी, "बेकार में सुबह सुबह तंग मत करो।". उसने करवट बदल कर पीठ कर ली।. वह व्हीसलर और चिड़िया के वार्तालाप को सुनता हुआ सोच रहा था कि क्या यह एक ही प्रजाति के हैं? क्या कहूँ! Links to this post. Labels: लघुकथा. Subscribe to: Posts (Atom). हिन्दी राइटर्स गिल्ड Hindi Writers Guild. साहित्यिक अंतरजाल. साहित्य कुञ्ज. कविता कोश. कृत्या. प्रजाति. विषय सूची.
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क्या कहूँ....? - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: पगड़ी
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क्या कहूँ? हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Saturday, January 24, 2009. 8220;बच्ची, नीचे से ही आवाज़ दे दी होती। मैं चला आता, ऐसे ही ऊपर आना पड़ा तुम्हें।“. 8220;नहीं दारजी, इसमें कौन सी परेशानी की बात है। आप नीचे नहीं आए तो सोचा कि पूछूँ आपकी तबीयत तो ठीक है न? घर-परिवार में रहने वाला बुज़ुर्ग क्या वह सब कुछ कर सकता है चाहे उसका जितना भी जी करे? क्या इससे कोई मर्यादा भंग नहीं होती? आखिर वह भी इंसान हैं, कोई देवता तो नहीं! 8220;अरे भजन! 8220;समझ जाएगा प्यारे जब तू भी देख...8221; हरभजन सिंह को समझ नह&...8220;बचन तí...
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क्या कहूँ....? - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: नव वर्ष की शुभकामनाएँ
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क्या कहूँ? हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Thursday, January 1, 2009. नव वर्ष की शुभकामनाएँ. सुखद मंगलमय हो नव-वर्ष. अक्षय अंजुरी भर – भर. मिलता रहे सुखद हर्ष. पूर्ण हो – सिद्धार्थ हो. छू ले जीवन चरम उत्कर्ष. करें सुमन, नीरा कामना. सुखद मंगलमय हो नव-वर्ष. नया वर्ष सपरिवार आपके लिए मंगलमय हो! सुमन, नीरा, आलोक एवं सुमित घई. साहित्य कुञ्ज.नेट). Http:/ www.sahityakunj.net/. क्या कहूँ! January 2, 2009 at 1:54 PM. नव वर्ष की शुभकामनायें।. January 21, 2009 at 4:25 AM. Subscribe to: Post Comments (Atom).
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क्या कहूँ....? - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: प्रजाति
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क्या कहूँ? हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Sunday, March 7, 2010. प्रजाति. उसकी पत्नी अभी भी सो रही थी। उसने आदतन अपनी बाँह उसपर रख दी। वह एक दम झल्ला उठी, "बेकार में सुबह सुबह तंग मत करो।". उसने करवट बदल कर पीठ कर ली।. वह व्हीसलर और चिड़िया के वार्तालाप को सुनता हुआ सोच रहा था कि क्या यह एक ही प्रजाति के हैं? क्या कहूँ! Labels: लघुकथा. March 7, 2010 at 7:59 PM. वाह जी वाह! खूब खाका खींचा! सुमन शैली में मानवीय दाम्पत्य का।. March 7, 2010 at 8:15 PM. Subscribe to: Post Comments (Atom). कविता कोश.
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क्या कहूँ....? - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: December 2008
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क्या कहूँ? हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Friday, December 26, 2008. क्या कहूँ? क्या कहूँ? हतोत्साहित है यह समाज! चलो कम से मानसी ने अपने ब्लॉग पर क्रिसमिस के संगीत को अपलोड किया! सुना. अच्छा लगा। क्या कहूँ? मोड़ पर खड़ा नव वर्ष झाँकता है. अपना लक्ष्य, अपना सामर्थ्य आँकता है. देखता है जो गत वर्ष की दशा. अनमना, मानव की नीयत भाँपता है. लेते हैं हर वर्ष प्रण शांति का -. नव चेतन, नव समाज, नव क्रांति का. मकर आते ही बिखर जाते संकल्प सारे. कोई कहता है नव-शासक नव शासन दूँगा. क्या कहूँ! Links to this post.
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निर्मल सिद्धु - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: December 2010
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निर्मल सिद्धु - हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Sunday, December 26, 2010. नया साल मुबारक हो सबको. नये अंदाज़ में ढल कर नया फिर साल आया है. नई ख़ुशियां नये सपने ये अपने साथ लाया है. नये रिश्ते बनेंगे और कुछ क़िस्से बनेंगे फिर. नये नग़्मे पिरो कर फिर नई सुरताल लाया है. दुआयें साथ इसके हैं वफ़ायें साथ इसके हैं. मुहब्बत की सुरीली धुन सुनाने आज आया है. संजोये दिल में रक्खे हैं तेरे संग पल जो गुज़रे हैं. रहेंगे साथ आगे भी यही फिर आस लाया है. Labels: ग़ज़ल. Thursday, December 23, 2010. Saturday, December 18, 2010. किस द...
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भुवनेश्वरी पाण्डे - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: हँसी
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भुवनेश्वरी पाण्डे - हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Tuesday, December 30, 2008. मन- मस्तिष्क पर उग आये. अनेक विचार, व कामनायें. हृदय में पनप गये. अनेकों विचार, व कामनायें. जो जीवन पर्यन्त विकसित. ही होते गए और आशाओं का इन्द्रधनुष,. और आपस में उलझते गये. उनमें अचानक एक संधि सी हो गई ,. मन मस्तिष्क और हृदय ने. पहले बातें की, फिर हँस पड़े. और उनकी इस हँसी से. उनके गगन पर छाए. सारे बादल छँट गए,. अब उनका निश्चय है. कि हृदय पर या मन पर. कुछ भी उगने ना दो. जो उगता हए, वो बढ़ता है. और स्वयं बादल बन कर.
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भुवनेश्वरी पाण्डे - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: bavlee pavan
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भुवनेश्वरी पाण्डे - हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Friday, January 9, 2009. Mai is upvan kee pavan bavlee ban gaee. PuSp maire atthi va kaliynaa sahelee ban gaeen. Badhna to nagwaar tha par is bageya men badh gaee. Har pallv se har dalee se. Har koopl se har kalee se. Mai praath se sandhya tak kheltee khal rah gaee. Jis pushp nejoo diya usee ko leke bah gayee. Kaliyon ke Gunght kholna aik pahelee ban gaee. Mai es bagiyaa kee pavan baavlee ban gayee. Yahaan tak ki sichtee Buni kee gndh samete rah gayee. हिन&...
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पाराशर गौड़ - हिन्दी राइटर्स गिल्ड: चार लाइन
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पाराशर गौड़ - हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Wednesday, February 2, 2011. चार लाइन. बांध को बांध ले ते है सब. नदी को बांध न पाया कोइ. नभ को छू लिया है हमने. न बांध पाया मन को कोइ. पाराशर गौड़ - हिन्दी राइटर्स गिल्ड. Subscribe to: Post Comments (Atom). हिन्दी राइटर्स गिल्ड Hindi Writers Guild. हिन्दी राइटर्स गिल्ड की काव्य गोष्ठी में जसबीर कालरवी के "अमृत" पर चर्चा. भांची. सवाल - जबाब. मरना एक मौत का! प्रमाण दो! अशांत हूँ! एक सुझाऊ. चार लाइन. समय समय का फेर. शादी का इश्तेहार. Drunk एंड द्राइब.